पत्रकारों और पत्रकारिता संस्थानों पर बढ़ते हमले के मद्देनज़र महाराष्ट्र सरकार एक नया नियम लेकर आयी है जिसके तहत पत्रकारों एवं मीडिया कार्यालयों के विरुद्ध हुई हिंसा को संज्ञेय, गैरजमानती एवं प्रथम श्रेणी मैजिस्ट्रेट द्वारा ही सुने जाने लायक अपराध माना जाएगा। महाराष्ट्र विधानसभा में पत्रकारों की सुरक्षा का विधेयक पास हो गया। इसके अनुसार पत्रकारों या मीडिया कार्यालयों पर हमला करनेवालों को तीन साल की सजा एवं 50,000 रुपए जुर्माने का प्रावधान होगा। भाजपानीत देवेंद्र फड़नवीस मंत्रिमंडल ने गुरुवार को पत्रकारों की सुरक्षा का विधेयक पेश करने की मंजूरी दी थी।
पत्रकारों पर हमला करेंगे तो अब नप जायेंगे
पत्रकारों की सुरक्षा के लिए सरकार लेकर आयी नया नियम