राखी बिरला भी पत्रकार रही है तभी तो बच्चे की गेंद को पत्थर बना दिया

विकास मिश्र, पत्रकार, आजतक

मीडिया में काम करने वाले एक कला के बारे में अच्छी तरह और जानते हैं वो कला है- राई को पहाड़ बनाने की कला। तिल को ताड़ बनाने की कला। हमारे मीडिया में कई लोग इस कला के माहिर होते हैं। आम आदमी पार्टी की मंत्री राखी विरला भी पत्रकार रही हैं, शायद इस कला में ये भी माहिर रही हों। तभी तो बच्चे की गेंद को पत्थर बना दिया। अब तिल अगर ताड़ बन सकता है, तो बच्चे की गेंद एटमबम भी बन सकती है। बस बनाने का हुनर चाहिए।

Riyaz Hashmi दुनिया में तीन तरह के पत्रकार होते हैं- मिशनरी, कमीशनरी और फिक्सनरी।

Rajeev Saxena आपने सही कहा पर राई तो होना चाहिए न ..राई का ताड़ व तिल का पहाड़ बनाने वाले पत्रकार व नेता अथवा अभिनेता तथ्यहीन माहौल बनाने के बाद अविश्वसनीय होजाते हैं……..

Sanjay Kumar प्रणब बाबू…उन्हें एक बच्चे की बातों पर यकीन नहीं है…उस मुहल्ले के चश्मदीद लोगों पर यकीन नहीं है…बच्चे की मां पर यकीन नहीं है…जो गेंद दिखाकर बता रही है कि इसी गेंद से टूटा था कार का शीशा…ये आम लोग हैं…जिसकी सवारी कर केजरीवाल यहां तक पहुंचे हैं…लेकिन वो तो दिन भर अपने सरकार की मंभी की तरफदारी में लगे रहे…फिर हम क्या कहें??

Dinesh Goswami सही लिखा आपने ……आप के ये मंत्री … आम से खास होने की जुगत में जुट गए है … अब् इनको किसी ण किसी बहाने सुरक्षा चाहिए ….. गाडी बँगला तो ले ही चुके है …

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